
प्रकाश मेहरा
दिल्ली डेस्क
बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के दूसरे और अंतिम चरण की वोटिंग 11 नवंबर को पूरी हो चुकी है। अब सभी की निगाहें 14 नवंबर को होने वाली वोट गणना पर टिकी हैं। यह चुनाव 243 सीटों के लिए लड़ा गया, जिसमें एनडीए (जेडीयू-बीजेपी गठबंधन) और महागठबंधन (आरजेडी-कांग्रेस-वाम दलों) के बीच कांटे की टक्कर रही। कुल वोटर टर्नआउट रिकॉर्ड 66.91% रहा, जो 1951 के बाद का सबसे ऊंचा है। आइए, वोटों की गिनती की पूरी प्रक्रिया, रुझानों का समय और अन्य जरूरी जानकारियों पर नजर डालें।
वोट गणना कब और कहां होगी?
निर्वाचन आयोग (ईसीआई) के अनुसार, वोटों की गिनती 14 नवंबर 2025 को सुबह 8 बजे शुरू होगी। यह सभी 243 सीटों के लिए एक साथ होगी। बिहार के सभी 38 जिलों में स्ट्रॉन्ग रूम्स (जहां ईवीएम सुरक्षित रखी गई हैं) को ही काउंटिंग सेंटर बनाया गया है। प्रत्येक केंद्र पर त्रिस्तरीय सुरक्षा (पुलिस, सीआरपीएफ और स्थानीय फोर्स) रहेगी। कुल 1,300 से ज्यादा उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला होगा। लाइव अपडेट्स ईसीआई की वेबसाइट (results.eci.gov.in) पर उपलब्ध होंगे।
वोटों की गिनती कैसे होती है? पूरी प्रक्रिया स्टेप-बाय-स्टेप
भारतीय चुनावों में वोट गणना ईवीएम (इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन) पर आधारित होती है, जो बैलेट पेपर सिस्टम से कहीं तेज है। पहले बैलेट से 2-3 दिन लगते थे, लेकिन अब 2-3 घंटों में रुझान साफ हो जाते हैं। यहां पूरी प्रक्रिया है:तैयारी (सुबह 8 बजे से पहले): स्ट्रॉन्ग रूम के ताले उम्मीदवारों/एजेंटों की मौजूदगी में खोले जाते हैं। ईवीएम की सील चेक की जाती है। कोई गड़बड़ी की शिकायत तुरंत रिटर्निंग ऑफिसर (आरओ) को।
स्टेप 1: पोस्टल बैलेट की गिनना (सुबह 8-8:30 बजे): सबसे पहले डाक मतपत्र (पोस्टल बैलेट) गिने जाते हैं। ये सैनिकों, बुजुर्गों या अनुपस्थित वोटरों के होते हैं। यह 30 मिनट से 1 घंटा ले सकता है। ईवीएम से पहले इनकी गिनती प्राथमिकता में होती है।
स्टेप 2: ईवीएम वोटों की गिनना (सुबह 8:30 बजे से): प्रत्येक काउंटिंग हॉल में 14-15 टेबल लगी होती हैं। हर टेबल पर 1 काउंटिंग सुपरवाइजर, 1 सहायक और 1 माइक्रो-ऑब्जर्वर होता है।
एक राउंड में 14 ईवीएम (एक-एक पोलिंग बूथ से) की गिनती होती है। प्रत्येक ईवीएम में 1,000-1,500 वोट हो सकते हैं, तो एक राउंड में 14,000-21,000 वोट गिने जाते हैं। ईवीएम को कनेक्ट करके ‘रिजल्ट बटन’ दबाने पर वोट काउंटर स्क्रीन पर दिखते हैं। प्रत्येक उम्मीदवार के वोट नोट किए जाते हैं। एक राउंड में 10-15 मिनट लगते हैं। कुल राउंड: किसी सीट पर 200 बूथ हों तो 15 राउंड लगेंगे। हर राउंड के बाद रिजल्ट घोषित होता है और ईसीआई वेबसाइट पर अपलोड।
कौन मौजूद रहता है?
आरओ की निगरानी में। प्रत्येक उम्मीदवार के अधिकतम 2 एजेंट (पार्टी सिंबल के साथ) टेबल के पास बैठ सकते हैं। मीडिया और ऑब्जर्वर भी होते हैं, लेकिन मोबाइल/कैमरा प्रतिबंधित। गड़बड़ी की शिकायत आरओ या ईसीआई हेल्पलाइन (1950) पर। सीसीटीवी रिकॉर्डिंग चलती रहती है। VVPAT (वोटर वेरिफायेबल पेपर ऑडिट ट्रेल) स्लिप्स का रैंडम चेक (5% ईवीएम का) होता है। अगर अंतर 2% से कम हो तो रीकाउंट संभव। सुबह 9 बजे तक 1-2 राउंड पूरे हो जाते हैं। पटना में सबसे तेज नतीजे मोकामा सीट से, देर से दीघा से आएंगे (बूथों की संख्या पर निर्भर)।
रुझान (ट्रेंड्स) कब आने लगेंगे? शुरुआती रुझान
सुबह 9 बजे से। पोस्टल बैलेट और पहले 1-2 ईवीएम राउंड के बाद। मजबूत ट्रेंड दोपहर 12 बजे तक। 30-40% वोट गिनने के बाद साफ तस्वीर। अंतिम परिणाम शाम 5-6 बजे तक। 122 सीटें जीतने वाली गठबंधन सरकार बनाएगी। एग्जिट पोल्स (11 नवंबर शाम 6:30 के बाद रिलीज) पहले ही एनडीए को मजबूत दिखा रहे हैं, लेकिन फाइनल काउंटिंग ही फैसला करेगी।
कुछ खास बातें बिहार 2025 के संदर्भ में
पैरामीटर कुल सीटें 243 (122 बहुमत के लिए) मुख्य मुकाबला एनडीए (नीतीश कुमार) vs महागठबंधन (तेजस्वी यादव) वोटर टर्नआउट चरण 1: 64.66%, चरण 2: 66.91% (महिलाओं में 71.6%) की सीटें पटना साहिब, जहानाबाद, मुजफ्फरपुर (मंत्रियों की सीटें) जन सुराज पार्टी (प्रशांत किशोर) की 7-10 सीटें
ईसीआई ने पारदर्शिता के लिए स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन (SIR) किया था, लेकिन विपक्ष ने वोटर लिस्ट में गड़बड़ी के आरोप लगाए (जो खारिज हो चुके)। कुल मिलाकर, यह बिहार की राजनीति में बड़ा मोड़ ला सकता है—नीतीश का 10वां टर्म या तेजस्वी का उदय।