
स्पेशल डेस्क
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ब्रिटेन की दो दिवसीय यात्रा के दौरान ब्रिटिश प्रधानमंत्री कीर स्टार्मर से लंदन में मुलाकात की। इस दौरान दोनों देशों के बीच ऐतिहासिक मुक्त व्यापार समझौते (Free Trade Agreement – FTA) पर हस्ताक्षर किए गए। यह समझौता, जिसे व्यापक आर्थिक और व्यापार समझौता (Comprehensive Economic and Trade Agreement) कहा जाता है, 6 मई 2025 को अंतिम रूप दिया गया था और अब औपचारिक रूप से लागू होने की प्रक्रिया में है। इस समझौते पर भारत के वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल और ब्रिटेन के वाणिज्य मंत्री जोनाथन रेनॉल्ड्स ने हस्ताक्षर किए। इसे लागू होने से पहले ब्रिटिश संसद की मंजूरी की आवश्यकता होगी।
समझौते का लक्ष्य और उद्देश्य
इस समझौते का लक्ष्य 2030 तक भारत और ब्रिटेन के बीच द्विपक्षीय व्यापार को 120 बिलियन डॉलर तक बढ़ाना है। यह दोनों देशों के बीच व्यापार, निवेश, रोजगार, और नवाचार को बढ़ावा देगा।
समझौते के तहत, भारतीय निर्यात पर 99% टैक्स में कमी आएगी। उदाहरण के लिए, ब्रिटिश व्हिस्की पर टैरिफ 150% से घटकर पहले 75% और अगले 10 वर्षों में 40% तक होगा। इससे ब्रिटिश उत्पाद जैसे व्हिस्की, कारें, सॉफ्ट ड्रिंक, कॉस्मेटिक्स, और मेडिकल उपकरण भारत में सस्ते होंगे। भारत से चमड़े, जूते, कपड़े, और खाद्य उत्पादों का निर्यात कम दरों पर संभव होगा, जिससे भारतीय उद्योगों को ब्रिटेन में नया बाजार मिलेगा।
दोनों देशों की व्यापक रणनीतिक साझेदारी
भारत ने ब्रिटिश कंपनियों को 3.2 लाख करोड़ रुपये के सरकारी खरीद बाजार में हिस्सा लेने की छूट दी है। साथ ही, गैर-संवेदनशील सरकारी निविदाओं में 200 करोड़ रुपये तक की पहुंच प्रदान की जाएगी। यह समझौता व्यापार के साथ-साथ रक्षा, प्रौद्योगिकी, शिक्षा, जलवायु परिवर्तन, और नवाचार जैसे क्षेत्रों में सहयोग को बढ़ाएगा। दोनों देशों ने एक व्यापक रणनीतिक साझेदारी (Comprehensive Strategic Partnership) की प्रगति की समीक्षा भी की।
क्या पड़ेंगे आर्थिक प्रभाव – भारत के लिए
भारतीय उद्योगों को ब्रिटेन में नए बाजार और निवेश के अवसर मिलेंगे। रोजगार सृजन और आर्थिक वृद्धि को बढ़ावा मिलेगा। ब्रिटिश प्रधानमंत्री कीर स्टार्मर ने इसे “बड़ी जीत” करार देते हुए कहा कि यह समझौता हजारों नए रोजगार पैदा करेगा और ब्रिटिश लोगों की जेब में ज्यादा पैसा डालेगा। ब्रिटेन के बिजनेस एंड ट्रेड विभाग के अनुसार, भारत में ब्रिटिश उत्पादों पर औसत टैक्स 15% से घटकर 3% हो जाएगा, जिससे व्यापार में 39% की बढ़ोतरी (2040 तक 25.5 बिलियन पाउंड) की उम्मीद है। पीएम मोदी ने ब्रिटिश सम्राट किंग चार्ल्स तृतीय से भी शिष्टाचार भेंट की।
लंदन में भारतीय समुदाय ने पीएम मोदी का गर्मजोशी से स्वागत किया। दाऊदी बोहरा समुदाय सहित कई समूहों ने उनकी यात्रा पर उत्साह दिखाया। पीएम मोदी ने वैश्विक आतंकवाद को मानवता के लिए खतरा बताया, जो उनकी पुरानी यात्राओं (जैसे 1993) से चली आ रही उनकी सोच को दर्शाता है।
FTA भारत और ब्रिटेन के बीच समझौता
यह समझौता 2022 से चल रही बातचीत का परिणाम है, जिसमें 6 मई 2025 को सहमति बनी थी। भारत सरकार ने मंगलवार, 22 जुलाई को केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में इसकी मंजूरी दी थी। ब्रिटेन में खालिस्तानी समर्थकों की मौजूदगी के कारण सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे।
यह FTA भारत और ब्रिटेन के बीच आर्थिक और रणनीतिक संबंधों को मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। पीएम मोदी ने इसे “ऐतिहासिक मील का पत्थर” करार दिया, जो दोनों देशों की अर्थव्यवस्थाओं को नई ऊंचाई देगा। यह समझौता न केवल व्यापार को बढ़ावा देगा, बल्कि दोनों देशों के बीच तकनीकी, शैक्षिक, और रक्षा सहयोग को भी गहरा करेगा।
सुनिए ब्रिटेन में क्या बोले पीएम मोदी