
अनिल गुप्ता
नई दिल्ली
नई दिल्ली नगरपालिका परिषद (एनडीएमसी) ने शहरी ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के क्षेत्र में दो उल्लेखनीय पहल करते हुए स्थायी और विकेंद्रीकृत कचरा प्रबंधन की दिशा में महत्वपूर्ण प्रगति दर्ज की।
दिल्ली हाट में अत्याधुनिक खाद निर्माण इकाई का उद्घाटन
एनडीएमसी अध्यक्ष केशव चंद्रा ने शुक्रवार को आईएनए स्थित दिल्ली हाट में ‘एसओआरटी’ (Sorting for Recycling and Treatment) परियोजना के अंतर्गत एक अत्याधुनिक खाद निर्माण स्थल का उद्घाटन किया। यह पहल भारतीय प्रदूषण नियंत्रण संघ (आईपीसीए) और मदरसन समूह के साथ एनडीएमसी के सहयोग से संयुक्त रूप से कार्यान्वित की गई है।
यह इकाई केंद्रीयकृत सामुदायिक क्लस्टर (सीसीसी) मॉडल पर आधारित है और इसमें 15 एरोबिन कंपोस्टर्स लगाए गए हैं, जिनमें प्रतिदिन लगभग 180 किलोग्राम जैविक कचरा (मासिक लगभग 5,400 किलोग्राम) संसाधित किया जाएगा। इस कचरे में प्रमुख रूप से दिल्ली हाट के 25 से अधिक रेस्टोरेंट्स से निकलने वाला खाद्य अपशिष्ट शामिल है। इन एरोबिन यूनिट्स की विशेषता यह है कि वे कॉम्पैक्ट, गंध-मुक्त, बिजली रहित हैं और पूरी तरह से मैन्युअल संचालन को समाप्त करते हुए सामुदायिक उपयोग के लिए उपयुक्त हैं।

स्वच्छ और टिकाऊ नई दिल्ली की दिशा
उद्घाटन अवसर पर अपने संबोधन में केशव चंद्रा ने कहा “यह केवल एक तकनीकी नवाचार नहीं, बल्कि हमारे पर्यावरण के साथ जुड़ने का एक नया तरीका है। यह पहल दर्शाती है कि सामुदायिक स्तर पर किए गए प्रयास किस प्रकार कचरे को संसाधन में बदल सकते हैं। मैं प्रत्येक नागरिक से आग्रह करता हूँ कि वे स्रोत पर ही कचरे का पृथक्करण करना शुरू करें – यही एक स्वच्छ और टिकाऊ नई दिल्ली की दिशा में पहला कदम है।”
आईपीसीए के संस्थापक निदेशक आशीष जैन ने कहा “एरोबिन तकनीक पर्यावरणीय दृष्टि से अनुकूल और सामाजिक दृष्टिकोण से व्यवहारिक समाधान है। इस परियोजना का उद्देश्य शून्य अपशिष्ट समाज की परिकल्पना को साकार करना है।”
आराधना सोसाइटी को “अनुपम कॉलोनी” का दर्जा

एनडीएमसी द्वारा नागरिक-संचालित स्थिरता के एक अनुकरणीय उदाहरण को मान्यता देते हुए आराधना (बर्मा शेल कोऑपरेटिव हाउसिंग सोसाइटी लिमिटेड) को “अनुपम कॉलोनी” घोषित किया गया। यह सम्मान कॉलोनी में शून्य अपशिष्ट मॉडल के सफल क्रियान्वयन, स्रोत पर कूड़ा पृथक्करण, घरेलू कंपोस्टिंग और पुनर्चक्रण को बढ़ावा देने हेतु प्रदान किया गया है।
एनडीएमसी अध्यक्ष केशव चंद्रा, सचिव तारिक थॉमस और वरिष्ठ अधिकारियों की उपस्थिति में कॉलोनी में औपचारिक घोषणा की गई तथा “अनुपम कॉलोनी” नामपट्ट का अनावरण किया गया। इस अवसर पर अधिकारियों ने कॉलोनी में विकसित खाद निर्माण इकाई और आरआरआर (रिड्यूस, रीयूज, रीसायकल) केंद्र का निरीक्षण किया।
इस परियोजना को ‘व्हाई वेस्ट योर वेस्ट (WWW)’ फाउंडेशन की संस्थापक डॉ. रूबी मखीजा के मार्गदर्शन में लागू किया गया है। एनडीएमसी की स्वास्थ्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. शकुंतला श्रीवास्तव, डॉ. अंकिता राय और क्षेत्रीय स्वच्छता निरीक्षक राकेश कुमार को भी इस पहल में उनके योगदान के लिए विशेष रूप से सम्मानित किया गया।

प्रबंध समिति के अध्यक्ष एन. मारवाह क्या कहा
उन्होंने कहा “अनुपम कॉलोनी की मान्यता प्राप्त करना हम सभी के लिए गर्व का विषय है। यह उपलब्धि सामूहिक प्रयास, दृढ़ संकल्प और एनडीएमसी की निरंतर सहायता का परिणाम है।”
नई दिल्ली नगरपालिका परिषद की ये दोनों पहल – एक ओर तकनीकी नवाचार द्वारा कचरा प्रबंधन के क्षेत्र में स्थायी समाधान प्रस्तुत करना, और दूसरी ओर नागरिक-संचालित स्थिरता प्रयासों को मान्यता देना – भारत की चक्रीय अर्थव्यवस्था के दृष्टिकोण और स्वच्छ भारत मिशन के लक्ष्यों के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को सुदृढ़ करती हैं।